उत्तराखंड में नव निर्वाचित नगर निकायों की पहली बैठक 7 दिनों के भीतर अनिवार्य

देहरादून, 5 फरवरी 2025: उत्तराखंड सरकार ने स्थानीय निकायों में नव निर्वाचित बोर्ड के गठन को लेकर महत्वपूर्ण निर्देश जारी किए हैं। अपर सचिव गौरव कुमार द्वारा गढ़वाल और कुमायूं मंडल के आयुक्तों व सभी जिलाधिकारियों को भेजे गए पत्र में नगर निगम, नगर पालिका परिषद और नगर पंचायतों के नव निर्वाचित बोर्ड की पहली बैठक 7 दिनों के भीतर अनिवार्य रूप से आयोजित करने के निर्देश दिए गए हैं।

31 जनवरी को जारी हुई अधिसूचना

शहरी विकास अनुभाग-3 द्वारा जारी इस पत्र में बताया गया है कि 31 जनवरी 2025 को नव निर्वाचित नगर निकायों के गठन की अधिसूचना जारी कर दी गई थी। नगर पालिका अधिनियम, 1959 की धारा 85 और नगर निगम अधिनियम, 1916 की धारा 43 के तहत यह अनिवार्य किया गया है कि अधिसूचना जारी होने के सात दिनों के भीतर बोर्ड की पहली बैठक आयोजित की जाए।

प्रथम बैठक में अध्यक्षों का चुनाव अनिवार्य

निर्देश के अनुसार, इस पहली बैठक में नगर निगम के महापौर, नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष और नगर पंचायतों के अध्यक्षों का चयन किया जाएगा। बैठक के सफल आयोजन के लिए प्रशासन को समुचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए गए हैं।

जिलाधिकारियों को दायित्व सौंपा

निर्वाचन प्रक्रिया को सुचारू रूप से पूरा करने के लिए सभी जिलाधिकारियों को यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि बैठक तय समय सीमा के भीतर हो। इसके अलावा, निर्वाचन आयोग के निर्देशों के अनुसार सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए भी निर्देश जारी किए गए हैं।

सरकार के इस कदम से नगर निकायों में सुचारू प्रशासन सुनिश्चित किया जाएगा और नव निर्वाचित प्रतिनिधियों को अपने दायित्वों का निर्वहन करने का अवसर मिलेगा।

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